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Showing posts from January, 2015

क्यां लिखूँ ?

सोचता हूँ  कुछ लिखूँ , सोचता  हूँ  क्यां लिखूँ ? प्यार का अहेसास  हैं, दिल तेरे  नाम लिखूँ ! तुझे  मेरे  जैसा बनाना हैं मेरी  तक़दीर तेरे नाम लिखुँ ? सदा रहे खुश ये चाह है दुआ में  तेरा नाम लिखू ? जुग जुग जी तू   लाल मेरे मेरी उम्र तेरे तेरे नाम लिखुँ ? सोचता हूँ  कुछ लिखू  , सोचता  हूँ  क्यां लिखू ? तुषार  खेर

नया साल

नया  साल,  पर वही पुरानी प्यास ! तुमसे मिलने की वही पुरानी आस !! नया साल, पर वही पुराना अहसास ! वही दर्द और वही तन्हाई का आभास !! नया  साल, पर वही पुराने सिस्टाचार ! दर्द  छुपाने के लिए हसीँ की बौछार !! नया  साल,पर वही पुराना कारावास ! वही काम और फिर वही  भागम भाग !! तुषार खेर